प्रस्तावना:
- जल हमारे जीवन का एक महत्वपूर्ण तत्व है, जिसके बिना हम इस धरती पर रहने की कल्पना तक नही कर सकते
- पृथ्वी पर रहने वाले सभी जीव जंतु, पेड़ पौधें और प्रकृति से जुड़ी विभिन्न तत्वों का जल एक महत्वपूर्ण हिस्सा है,
- जल के बिना इस धरती पर जीवन काट पाना न के समान है जल भगवान के द्वारा दिये गए इस जीवन का आधार है।
- पृथ्वी पर जल की मात्रा तेज़ी से नीचे की ओर बढ़ रही है जल हमे तलाबों, झरनों, कुआं, झील आदि स्थानों से प्राप्त होता है और अब तो अधिकतर तालाब, कुएं, झील सूखने लगे हैं,
- आपको बताते चले कि हमे इस पृथ्वी पर जितना जल प्राप्त होता है उसका २.५ प्रतिशत जल ही पीने योग्य होता है बाकी का खारा जल होने की वजह से पीने में उपयोग नहीं करते हैं।
जल संरक्षण का तात्पर्य:
- जल संरक्षण से तात्पर्य यह है कि हमें जल अव्यय को रोकना चाहिए
- आज के समय मे हमे जल अधिक से अधिक मात्रा में बचाना चाहिए
- वर्षा के दौरान बेवजह बह जाने वाले जल या किसी अनावश्यक कार्य के लिए उपयोग में लाया गया जल उसे हम सब को बचाना चाहिए
- जितनी मात्रा में उसका उपयोग करना है उतना ही करना चाहिए और कोशिश करना चाहिए कि उससे कम में ही हो जाये।
जल प्रदूषण से होने वाली बीमारियां व उपाय:
- जैसा कि आपको ज्ञात होगा कि जल प्रदूषण से बहुत सी बीमारियों का सामना करना पड़ता है,
- जल प्रदूषण से मानव जाति को ही नुकसान नही पहुचता अपितु जलीय जीव पशु पक्षियों आदि को भी इसका सामना करना पड़ता है।
- अनेक से ऐसे कारखाने हैं, जिनमे विषैला जल निकलता है और सीधे नदियों नहरों तालाबों आदि में जाकर मिलता है और प्रदूषित हो जाता है। जिस कारण लोगों हैजा, मलेरिया, टाइफाइड, हैपेटाइटिस, दस्त और भी अनेक बीमारियों का सामना करना पड़ता है।
उपसंहार
- जल वह महत्वपूर्ण तत्व है, जिसके बिना हम और हमारा जीवन दोनों अधूरे हैं।
- जल ही जीवन है (Jal Hi Jeevan Hai par Nibandh) जल के बिना पृथ्वी पर गुज़र बसर कर पाना संभव नहीं है।
- जल मानव जाति ही नही बल्कि संसार मे सजीव तत्वों को भी जीवित रहने के लिए महत्वपूर्ण भूमिक अदा करती है।